समरनीति न्यूज, ब्यूरो (लखनऊ) : पीडब्ल्यूडी और भ्रष्टाचार का बड़ा पुराना नाता रहा है। हालांकि, अब मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की भ्रष्टाचार पर जीरो टालरेंस की नीति के कारण भ्रष्ट अधिकारियों पर लगातार एक्शन हो रहा है। ऐसे ही एक मामले में शासन ने एक परियोजना की धनराशि का इस्तेमाल दूसरी परियोजना में करने के आरोप में बदायूं के अधिशाषी अभियंता को निलंबित किया है।
यह है 6 करोड़ के घपले का पूरा मामला
लोक निर्माण विभाग के प्रांतीय खंड बदायूं के तत्कालीन अधिशासी अभियंता प्रमोद कुमार को सस्पेंड किया गया है। लोक निर्माण मंत्री जितिन प्रसाद का कहना है कि बदायूं जिले में बदायूं-मेरठ रोड एवं एमएफ रोड पर उच्च दरों पर अतिरिक्त मद से काम कराने की शिकायत मिली। इस मामले की जांच टेक्निकल ऑडिट सेल (टीएसी) से कराई गई थी।
ये भी पढ़ें : Banda : बांदा PWD के रायल्टी भ्रष्टाचार मामले को दबाने में लगे ‘घाघ’
फिर टीएसी द्वारा 12 जुलाई 2021 को जांच रिपोर्ट दी। जांच रिपोर्ट में सामने आया कि परियोजना के 6.06 करोड़ रुपए किसी दूसरी परियोजना में खर्च कर लिए गए। इस मामले में प्रांतीय खंड बदायूं के तत्कालीन अधिशासी अभियंता प्रमोद कुमार, तत्कालीन सहायक अभियंता कमरुल हसन खान, मनिन्दर सिंह और हितेंद्र सिंह यादव तथा 9 अवर अभियंताओं के खिलाफ अनुशासनिक कार्रवाई की गई है। वहीं एक्सईएन प्रमोद कुमार को तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।
UP : ‘जेल में पत्नी संग मौज’ वाले MLA अब्बास अंसारी कासगंज कारागार शिफ्ट
ये भी पढ़ें : कानपुर देहात : जिंदा जलीं मां-बेटी मामले में SDM सस्पेंड, लेखपाल और जेसीबी ड्राइवर गिरफ्तार
ये भी पढ़ें : बांदा PWD : रायल्टी घोटालेबाजों के पीछे कौन..? लखनऊ तक हल्ला, फिर भी जांच रफ्तार सुस्त