समरनीति न्यूज, बांदा : बांदा में अवैध खनन के चक्कर में बीते 2 से 3 वर्षों में एक दो नहीं बल्कि 3 खान अधिकारी निलंबित हो चुके हैं। एक अपर पुलिस अधीक्षक निलंबित होकर गए। इसके बावजूद कुछ बालू खदानों पर अवैध खनन का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा। सूत्रों का कहना है कि जिले में दो खदानों पर इस समय खुलेआम एनजीटी नियमों की धज्जियां उड़ रही हैं। सूत्र बताते हैं कि खुलेआम अवैध रूप से सीमांकन रेखा से बाहर जाकर अवैध खनन हो रहा है। हालांकि, कछ दन पहले प्रशासन ने कार्रवाई की थी। कुछ दिन ठीक रहने के बाद फिर अवैध खनन शुरू हो चुका है। बताते चलें कि बीते वर्षों में भी इन खदानों पर सख्त कार्रवाई हुई हैं।
कनवारा और लहुरेहटा खदानों पर अवैध खनन तेज
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार शहर से सटी कनवारा खदानों में अवैध खनन रूप से खनन जारी है। कुछ दिन पहले एक माफिया किस्म के कारोबारी के दबंगई की खबरें प्रकाशित हुईं। इसके बाद उसपर प्रशासन ने सख्ती भी की। कुछ दिन सबकुछ ठीक रहा, लेकिन अब फिर वहीं हालात हो गए हैं। रात में लगातार खदान से ओवरलोड ट्रक
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निकल रहे हैं। भारी मशीनों से नदी की जलधारा रोककर खनन की बातें सामने आ रही हैं। वहीं दूसरी खदान एमपी बार्डर पर नरैनी क्षेत्र में लहुरेहटा बालू खदान है। जानकार बताते हैं कि वहां भी अवैध खनन जारी है।
यूपी-एमपी बार्डर पर लहुरेहटा खदान पर घालमेल
लहुरेहटा खदान एमपी और यूपी दोनों साइड अवैध खनन जारी है। बताते हैं कि दोनों ओर सीमा रेखा के बाहर जाकर अवैध खनन किया जा रहा है। उधर, खनिज अधिकारी से इस संबंध में बात करने का प्रयास किया गया। उनसे संपर्क
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नहीं हो सका। बताते हैं कि कनवारा और लहुरेहटा में अवैध खनन तेज हो गया है। सीमा रेखा बाहर जाकर और रात-रातभर भारी मशीनों से अवैध खनन का सिलसिला तेज हो गया है। दोनों ही क्षेत्रों की खदानें जिले की बदनाम खदानें हैं। इन खदानों पर अवैध रूप से खनन किसी से छिपा नहीं है। बीते वर्षों में इन दोनों खदानों पर कई बार छापेमारी हो चुकी है। अवैध खनन पकड़ा भी गया है।
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