Thursday, May 2सही समय पर सच्ची खबर...

Tag: producer

बड़ी खबरः मोदी के खिलाफ एकजुट हुए 100 से ज्यादा फिल्म निर्माता, पत्र लिखकर की बीजेपी को वोट न देने की अपील..

बड़ी खबरः मोदी के खिलाफ एकजुट हुए 100 से ज्यादा फिल्म निर्माता, पत्र लिखकर की बीजेपी को वोट न देने की अपील..

Breaking News, Feature, Today's Top four News, उत्तर प्रदेश, एंटरटेनमेंट, बुंदेलखंड, भारत, लखनऊ, लोकसभा चुनाव -2019
समरनीति न्यूज, डेस्कः देश के सौ से अधिक दिग्गज फिल्म निर्माताओं ने बीजेपी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। फिल्म निर्माताओं ने लोगों से अपील की है कि बीजेपी को वोट न दें। इन लोगों का मानना है कि भाजपा के शासनकाल में धु्रवीकरण और नफरत की राजनीति में बढ़ोत्तरी हुई है। प्रतिष्ठिïत अखबार द हिंदू के अनुसार लोकतंत्र बचाओ मंच के तहत देश के सौ से अधिक फिल्म निर्माता एकजुट हुए। इन फिल्म निर्माताओं में ज्यादातर स्वतंत्र फिल्म निर्माता हैं। इन लोगों ने भाजपा को वोट न देने की अपील की है। निर्माताओं ने कहा कि पूरी तरह से विफल रही है मोदी सरकार   शामिल फिल्म निर्माताओं में आनंद पटवर्धन,  गुरविंदर सिंह, सुदेवन, दीपा धनराज,पुष्पेंद्र सिंह, कबीर सिंह चौधरी, एसएस शशिधरन, देवाशीष मखीजा, अंजलि मोंटेइरो, प्रवीण मोरछले और उत्सव के निर्देशक और संपादक बीना पॉप जैसे नामी फिल्मकार भी शामिल हैं। इन लोगों का यह बयान शु...
अनिल कपूर नहीं चाहते कि उनकी दूसरी बेटी रिया बने एक्ट्रेस, यह है खास वजह..

अनिल कपूर नहीं चाहते कि उनकी दूसरी बेटी रिया बने एक्ट्रेस, यह है खास वजह..

Breaking News, Feature, Today's Top four News, उत्तर प्रदेश, एंटरटेनमेंट, बुंदेलखंड, लखनऊ
समरनीति न्यूज, मनोरंजन डेस्कः अभिनेता अनिल कपूर के परिवार के ज्यादातर सदस्य फिल्मों में हैं। खुद सदाबहार हीरो हैं, बेटी सोनम जानी-मानी एक्ट्रेस हैं। बेटा हर्षवर्द्धन बतौर अभिनेता डेब्यू कर चुका है लेकिन उनकी दूसरी बेटी रिया कपूर ने अबतक फिल्मों में इंट्री नहीं की है। इसके पीछे इसली वजह उनके पापा अनिल कपूर हैं। रिया कपूर का आज जन्मदिन है और हम आपको बताते हैं कि आखिर क्यों रिया के फिल्मों में आने को, उनके पिता अनिल कपूर नापसंद करते हैं। आज है रिया का जन्मदिन बताते हैं कि 5 मार्च 1987 को रिया का जन्म हुआ था। खुद रिया ने एक इंटरव्यू में बताया था कि उनको एक्ट्रेस बनने के लिए उनके पिता ने मना किया था। रिया का कहना था कि पापा (अनिल कपूर) इस बात को लेकर डरे हुए थे कि कहीं 'मैं हीरोइन की बहन बनकर न रह जाऊं।' दरअसल, रिया ने फिल्म आयशा से वर्ष 2010 में बतौर प्रोड्यूसर अपने कैरियर की शुरूआत क...
भारत को डाक्यूमेंट्री फिल्म ‘पीरियड एंड आफ सेंटेंस’ के लिए मिला आस्कर अवार्ड, पांच फिल्मों को पीछे छोड़ा

भारत को डाक्यूमेंट्री फिल्म ‘पीरियड एंड आफ सेंटेंस’ के लिए मिला आस्कर अवार्ड, पांच फिल्मों को पीछे छोड़ा

Breaking News, Feature, Today's Top four News, उत्तर प्रदेश, एंटरटेनमेंट, दुनिया, बुंदेलखंड, भारत, लखनऊ
समरनीति न्यूज, नई दिल्लीः देश के लिए एक बड़ी खुशखबरी है। भारतीय फिल्म निर्माता गुनीत मोंगा की डॉक्यूमेंट्री 'पीरियड एंड ऑफ सेंटेंस' को ऑस्कर मिला है। इस फिल्म को ब्रेस्ट 'बेस्ट डॉक्युमेंट्री शॉर्ट सब्जेक्ट' कैटेगरी में ऑस्कर मिला है। इस लाइन में पांच अन्य फिल्में भी शामिल थीं जिनको पीछे छोड़ते हुए इस फिल्म ने इतिहास रच दिया है। बताते चलें कि भारतीय फिल्म निर्माता गुनित मोंगा ने 'पीरियड एंड ऑफ संटेंस' का निर्माण किया है। गुनित ने कई और फिल्में भी बनाई हैं जिनमें मसान और लंचबॉक्स जैसे नाम शामिल हैं। यूपी के हापुड़ की लड़की पर बनी है फिल्म  यह फिल्म हापुड़ जिले के गांव काठीखेड़ा की एक लड़की पर बनाई गई है जो अपनी सहेलियों के साथ मिलकर गांव में ही सबला महिला उद्योग समिति में सेनेटरी पैड बनाने का काम शुरू करती है। यह पैड गांव की महिलाओं के साथ नारी सशक्तीकरण के लिए काम कर रही संस्था एक्शन इंडि...
सीतापुर में बनेगी फिल्म, लोकेशन देखने पहुंचे सतीश कौशिक

सीतापुर में बनेगी फिल्म, लोकेशन देखने पहुंचे सतीश कौशिक

Breaking News, Feature, उत्तर प्रदेश, लखनऊ, सीतापुर
अभिनेता सतीश कौशिक पुरानी मंगरहिया बाजार  में घूमे सीतापुर, संवाददाता : अभिनेता एवं प्रख्यात फिल्म निर्देशक सतीश कौशिक गुरुवार को जिले के बिसवां कस्बा पहुंचे। उन्होंने वहां पहुंचकर कस्बा स्थित पुरानी मंगरहिया बाजार, तहसील भवन व कंदुनी का दौरा किया। बताया कि जल्द ही बिसवां के इन इलाकों में एक डाक्यूमेंट्री फिल्म की शूटिंग शूरू होगी। इसी की तैयारियों के सिलसिले में अभिनेता कौशिक लोकेशन देखने बिसवां पहुंचे थे। फिल्म अभिनेता के आने की सूचना पर बड़ी संख्या में लोगों की भीड़ उनको देखने और मिलने के लिए जुट गई। सरकारी दस्तावेजों में मृत गरीब की मुश्किलों  पर है फिल्म  बताया जाता है कि डाक्यूमेंट्री फिल्म का विषय सरकारी अभिलेखों में गरीब को किस तरह से जीवित की बजाय मृत घोषित कर उसकी संपत्ति को ठिकाने लगाने का प्रयास होता है और पूरी जिंदगी वह व्यक्ति कैसे कानून परेशानियों से जूझता हुआ खुद को जी...