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आयोग ने सुप्रीमकोर्ट को बताया,  ‘पीएम नरेंद्र मोदी’ सिर्फ बायोपिक नहीं बल्कि डायलाग ज्यादा..

सुप्रीम कोर्ट।

समरनीति न्यूज, डेस्कः चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट में बताया कि चुनाव होने तक फिल्म ‘पीएम नरेंद्र मोदी’ की रिलीज रोकना क्यों सही है। चुनाव आयोग ने इस फिल्म की रिलीज को टालने के अपने फैसले के समर्थन में सुप्रीम कोर्ट को 17 लाइन्स बताई हैं। फिलहाल इस मामले में 26 अप्रैल को सुनवाई होगी। फिल्म देखने के बाद आयोग ने लिया फैसला ‘पीएम नरेंद्र मोदी’ देखने के बाद चुनाव आयोग ने सुप्रीम कोर्ट को बताया है कि यह फिल्म महज एक बायोपिक नहीं है, बल्कि इसमें ऐसे डायलॉग और सिंबल हैं, जो एक जनप्रतिनिधि की काफी तारीफ करते है।

आयोग ने कहा, यह फिल्म एक पार्टी के पक्ष में बना सकती है माहौल  

एक दिन एक सच्चा मर्द दिल्ली की कुर्सी पर बैठे’ इस लाइन का इस्तेमाल फिल्म ‘पीएम नरेंद्र मोदी’ में किया है, जिसकी रिलीज पर मौजूदा लोकसभा चुनाव तक रोक लगी हुई है। अंग्रेजी अखबार द इंडियन एक्सप्रेस के मुताबिक, ईसी ने जो 17 लाइन एससी को बताई हैं उनमें ‘गजब का जुनून है।

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इसकी आंखों में’ और ‘राष्ट्रवाद ही मेरी संपत्ति है’ जैसी लाइनें भी शामिल हैं। चुनाव आयोग ने कहा है कि चुनाव के दौरान इस फिल्म की रिलीज को अनुमति मिलने से एक पार्टी विशेष के पक्ष में माहौल बन सकता है। बता दें कि आयोग के वरिष्ठ अधिकारियों ने 17 अप्रैल को यह फिल्म देखने बाद एक रिपोर्ट तैयार की थी।

आयोग के खिलाफ 4 निर्माता गए कोर्ट 

‘पीएम नरेंद्र मोदी’ की रिलीज टालने वाले चुनाव आयोग के निर्देश के खिलाफ इस फिल्म के 4 निर्माताओं ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था। बता दें कि 10 अप्रैल को चुनाव आयोग ने इस फिल्म की रिलीज पर मौजूदा लोकसभा चुनाव तक बैन लगा दिया था। इसके बाद 12 अप्रैल को इस फिल्म के निर्माताओं ने सुप्रीम कोर्ट जाकर चुनाव आयोग के फैसले को अभिव्यक्ति की आजादी का उल्लंघन बताया था। सुप्रीम कोर्ट ने 15 अप्रैल को चुनाव आयोग को निर्देश दिया था कि वो पहले इस फिल्म को देखे और फिर इस पर रिपोर्ट सौंपे। इसके लिए आयोग को 22 अप्रैल तक का समय दिया गया था। सुप्रीम कोर्ट अब इस मामले पर 26 अप्रैल को सुनवाई करेगा।

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